
करौली के महाराजा शूरवीर्य परम वीर्य राजपूत चंद्रपाल सिंह…! जिनका कद था 9 फुट साढ़े दस इंच, वजन 802 किलो, छाती 96 इंच, भुजाएं 74 इंच, तलवार का भार 168 किलो, ढाल 306 किलो, विद्युत की गति से दौड़ते, 95 फुट ऊंची छलांग मारते…! एक बार शेरों के झुंड में घिरे तो 30 शेरों को निहत्था ही फाड़ डाला, फिर कुछ दिनों बाद हाथियों के झुंड में घिर गए तो 20 हाथियों को सूंढ पकड़ कर उछाल कर दूर फेंक दिया, कुछ दिनों बाद राजपूत साहब मगरमच्छों के झुंड से घिरे तो 80 मगरमच्छों को निहत्था चीर दिया…!
मुगल इनके नाम से घबराते थे, बहुत बड़े राजा थे किंतु जब युद्ध करते तो राजपूती परंपरा के अनुसार उनकी सेना में कुछ ही सैनिक होते जो कई दिन के भूखे प्यासे रहते और पेचिस से ग्रस्त होते…! और इनका सेनापति भी राजपुति परंपरा के अनुसार 95 वर्ष का बूढ़ा होता…! महाराजा चंद्रपाल भी हर युद्ध में सर कटवा बैठते और बिना सर के ही शत्रु को हज़ारों किलोमीटर तक दौड़ा दौड़ा कर हराते…!
किसी ने खूब लिखा है _
चंद्रपाल लड़ियो एसो लड़ियो मुगल पठान से !
जैसो सुबहो-सुबहो लोटा ले के जाए कोई मैदान में …!!