यूपी (बाराबंकी) : हाइवे पर मौत का ओवरटेक! 50 यात्रियों से भरी बस पलटी, 3 की मौत

बाराबंकी में सोमवार को 50 यात्रियों से भरी एक तेज रफ्तार बस पलट गई। हादसे में 3 यात्रियों की मौके पर ही मौत हो गई, जबकि 18 गंभीर रूप से घायल हो गए। रोडवेज बस लखनऊ से गोंडा जा रही थी। हादसा रामनगर थाना क्षेत्र के चौका घाट क्रॉसिंग के पास हुआ। हादसा तेज रफ्तार में ओवरटेक करने के चलते हुआ। 18 घायलों को 8 एंबुलेंस से अस्पताल भेजा गया।
बस की स्पीड इतनी तेज थी कि अनियंत्रित होने के बाद सड़क किनारे लगी रेलिंग को तोड़ दिया। इसके बाद 4-5 पलटी खाते हुए घाघरा नदी के किनारे गिर गई। हादसे के बाद यात्रियों में चीख-पुकार मच गई। जिसको जहां से मौका मिला वह बाहर निकलने की कोशिश करने लगा। बस में गोंडा, बलरामपुर, महारागंज, बाराबंकी के यात्री सवार थे।
उधर, आसपास के लोग भागते हुए बस के पास तक पहुंचे। उन्होंने शीशा तोड़कर घायलों को बाहर निकाला। वहीं सूचना मिलते ही तत्काल पुलिस भी मौके पर पहुंच गई। पुलिस ने सभी घायलों को 8 एंबुलेस से नजदीकी अस्पताल में भेजा। जहां से 18 गंभीर घायलों को जिला अस्पताल रेफर कर दिया गया।
गंभीर घायलों को 35 किलोमीटर दूर बाराबंकी जिला अस्पताल भेजा गया। अस्पताल में एक साथ 8 एंबुलेंस से 18 गंभीर घायल पहुंचे, तो डॉक्टरों में भगदड़ मच गई। अस्पताल स्टाफ की मदद से लोगों को एंबुलेंस से नीचे उतारा गया। हर तरफ लोगों की रोने की आवाजें आ रही थीं। सभी लोग इलाज के लिए उधर-इधर भाग रहे थे।
हादसे की वजह तेज स्पीड में ओवरटेक करने को बताया जा रहा है। यात्रियों का कहना है कि बस की स्पीड इतनी तेज थी कि ओवरटेक करते वक्त ड्राइवर कंट्रोल नहीं कर सका। बस में सवार महावीर नाम के एक यात्री ने बताया, ‘ड्राइवर बहुत तेज बस चला रहा था। हम महराजगंज से बैठे थे। बस चालक ओवरटेक करने की कोशिश कर रहा था, तभी बस पलट गई। तेज मोड़ आने के बाद भी ड्राइवर ने बस को धीमे नहीं किया। हम लोग चिल्लाते रहे और हादसा हो गया।’
हादसे के बाद घटना स्थल का हाल ऐसा था कि लोगों की रूह कांप गई। किसी का हाथ बस की खिड़की से लटक रहा था, तो कोई बस के नीचे दबा हुआ था। सभी घायल बस से निकलने की कोशिश कर रहे थे। किसी तरह स्थानीय लोगों ने बस का शीशा तोड़कर लोगों को बाहर निकाला। कई यात्री सीट के बीच में फंसे हुए थे। सीट को काटकर उन्हें बाहर निकाला गया। घायलों में बच्चे, महिलाएं, पुरुष और बजुर्ग सभी शामिल थे।
वहीं, एक अन्य यात्री केवी सिंह ने बताया, ‘हम लोग बलरामपुर से लखनऊ जा रहे थे। ओवरटेक करने के चक्कर में ये हादसा हुआ है। बस पूरी भरी हुई थी। लगभग 50-60 लोग बस में बैठे थे। सभी लोग चिल्ला रहे थे। लेकिन ड्राइवर ने किसी की नहीं सुनी।
हादसा होने के बाद पास में स्थित एक ढाबे के मालिक ने पुलिस और एंबुलेंस को मामले की जानकारी दी। जानकारी मिलने के आधे घंटे बाद एंबुलेंस मौके पर पहुंच गई। 8 एंबुलेंस को मौके पर भेजा गया। स्थानीय लोगों ने बहुत मुश्किल से लोगों को बस से बाहर निकाला और एंबुलेंस में बैठाना शुरू किया। स्थानीय लोगों ने अपने घरों से कपड़े लाकर घायलों के घावों पर बांधे। जिन लोगों को मामूली चोटें आईं थी, उनको लोग अपने ही वाहन से पास के सीएचसी ले गए।
किसी के सिर से खून निकल रहा था, तो किसी का हाथ टूटा हुआ था। तो कोई अपना दर्द भूल कर अपनों के लिए इलाज मांग रहा था। वहीं एक पिता अपने बेटे को गोद में उठाए उधर-इधर इलाज मांग रहा था। वो यही बोल रहा था कि मेरे बेटे को बचा लो। अस्पताल में मौजूद लोग भी घायलों की मदद के लिए तुरंत आगे आए। इंमरजेंसी डॉक्टरों को मौके पर बुलाया गया। मौजूद डॉक्टरों का कहना है कि सभी लोगों को गंभीर चोटें आई हैं। हम लोग सबको इलाज देने का प्रयास कर रहे हैं। लेकिन चोटें इतनी गहरी हैं कि हमें भी समय लग रहा है।