
उत्तर प्रदेश मथुरा से एक खबर सामने आई है।आज आया कोर्ट का फैसला पिता ने अपनी बेटी के साथ किया था दुष्कर्म उसको मिली उम्र कैद की सजा ₹80000 का जुर्माना।
अपनी नाबालिग बेटी की इज़्ज़त तार तार करने वाले रेपिस्ट वहशी पिता को उम्र कैद की सजा वारदात के (2)माह बाद ही अदालत ने किया बेटी के साथ इंसाफ
उत्तर प्रदेश मथुरा में नाबालिग बेटी के साथ दुराचार के मामले में आरोपी पिता महेन्द्र सिंह को कोर्ट ने वारदात के (2) महीने बाद ही आजीवन कारावास की सजा सुनाई। विशेष न्यायाधीश पोक्सो एक्ट की अदालत ने रेपिस्ट पिता पर (80) हजार रूपए का अर्थ दंड भी लगाया।
पीड़िता की मां ने दर्ज कराई थी रिपोर्ट
मथुरा के थाना फरह में (18) मई को एक महिला पहुंची और पुलिस से कहा कि उसे अपनी बेटी के साथ हुई रेप की वारदात की रिपोर्ट दर्ज करानी है। पुलिस ने जब आरोपी के बारे में पूछा तो पता चला कि इस शर्मनाक हरकत को किसी और ने नहीं बल्कि उसके पिता ने ही अंजाम दिया है। पुलिस ने तत्काल पीड़िता की मां की तहरीर के आधार पर आरोपी पिता के खिलाफ दुराचार की रिपोर्ट दर्ज की और पीड़िता का मेडिकल कराया था।
(10) वर्ष की बेटी को बनाया था हवस का शिकार
थाना फरह क्षेत्र के रहने वाले महेंद्र सिंह ने अपनी (10) वर्षीय बेटी के साथ ही शर्मनाक हरकत कर डाली। महेंद्र सिंह पीड़िता को मोटर साइकिल से नेशनल हाईवे पर हिंदुस्तान कॉलेज के समीप गोवर्धन नाले के पास झाड़ी में ले गया और बलात्कार की घटना को अंजाम दिया। पीड़िता ने इसकी जानकारी मां को दी। मां ने (112) नंबर डायल कर पुलिस को सूचना दी। पुलिस ने आरोपी महेंद्र के खिलाफ धारा (376) और (5M/6) पोक्सो एक्ट में मुकदमा दर्ज कर लिया।कोर्ट ने दो महीने में सुनाई सजापुलिस ने मुकद्दमा दर्ज करने के बाद आरोपी महेंद्र सिंह को गिरफ्तार कर लिया और जेल भेज दिया। इस मामले में विशेष न्यायाधीश पोक्सो एक्ट राम किशोर यादव ने (2) महीने में ही सुनवाई पूरी करते हुए आरोपी महेंद्र सिंह को आजीवन कारावास और (80) हजार रूपए अर्थ दंड की सजा सुनाई। स्पेशल डीजीसी पोस्को एक्ट अलका उपमन्यु ने बताया कि कोर्ट ने महेंद्र सिंह को धारा (376) में (10) वर्ष और (20) हजार रूपए का अर्थ दंड,धारा (506) में (2) वर्ष कारावास और (10) हजार रुपए अर्थ दंड व पोक्सो एक्ट में आजीवन कारावास और (50) हजार रूपए अर्थ दंड की सजा सुनाई है। आरोपी पर सभी सजाएं साथ साथ चलेंगी।पिता दोषी को आजीवन कारावास की सजा मिली।कोर्ट के फैसले के ऊपर।