बीजेपी विधायक पर ज़मीन हड़पने का लगा आरोप, ‘पलायन को मजबूर’, तीन परिवारों ने घरों पर लगाया बैनर

यूपी (अमरोहा) : बीजेपी विधायक पर ज़मीन हड़पने का लगा आरोप, ‘पलायन को मजबूर’, तीन परिवारों ने घरों पर लगाया बैनर

ज़िले में भारतीय जनता पार्टी विधायक महेंद्र खड़क वंशी पर जमीन हड़पने का आरोप लगाते हुए तीन परिवारों ने अपने घरों पर पलायन करने का बैनर लगा दिया है. मामला हसनपुर इलाके के डगरोली गांव का है. यहां से वाराणसी को जोड़ने वाला एक्सप्रेस-वे गुजर रहा है. इसकी वजह से इलाके में जमीनें महंगी हो गई हैं. इस इलाके के रहने वाले तीन परिवारों ने अपने घरों पर पलायन करने का बैनर लगा दिया है.

आरोप है कि बीजेपी के विधायक उनकी जमीन हड़पना चाहते हैं. पुलिस ने मारपीट कर उन्हें घरों से निकाल दिया है. पीड़ित परिवार न्याय न मिलने पर पेट्रोल छिड़ककर पूरे परिवार सहित आत्महत्या करने की धमकी दे रहा है. साथ ही सीएम योगी आदित्यनाथ से न्याय की गुहार लगाई है. वहीं जिला प्रशासन इस मामले पर चुप्पी साधे हुए है.

पीड़ित जयप्रकाश ने कहा कि बीजेपी के विधायक हमारी पुश्तैनी जमीन पर कब्जा कर रहे हैं. हमारे पास सारे कागजात हैं. पुलिस ने हमें मारपीट कर हमारे घर से निकाल दिया और हमारा सामान बाहर फेंककर घर पर ताला लगा. जयप्रकाश ने कहा कि अगर हमें न्याय नहीं मिला तो हम या तो पेट्रोल छिड़ककर आग लगा लेंगे, या पूरे परिवार के साथ यहां से चले जाएंगे.

वहीं, पीड़ित मीनू ने कहा कि विधायक महेंद्र खड़क वंशी हमारी जमीन पर कब्जा करना चाहते हैं. विधायक ने पुलिस भेजकर हमारे साथ मारपीट कराई. हमारा सामान बाहर फेंक दिया और हमारे घर पर सीओ ने ताला लगा दिया. हमें घर से बाहर निकाल दिया गया. मेरी जब से शादी हुई है, तब से इसी घर में रहते थे. यह हमारी पुश्तैनी जमीन है. अगर हमें न्याय नहीं मिला तो हम पूरे परिवार के साथ यहीं आत्मदाह कर लेंगे. एक अन्य पीड़ित राजेंद्र कुमार ने भी विधायक महेंद्र सिंह खड़क वंशी पर यही आरोप लगाए. उन्होंने कहा कि विधायक हमसे जबरन हमारी जमीन छीनना चाहते हैं.

इस मामले को लेकर क्षेत्राधिकारी सतीश चंद्र पांडे ने कहा कि 7 सितंबर को सूचना मिली थी कि ग्राम डगरौली में मकान पर कब्जे को लेकर झगड़ा हो गया है. इसके बाद पुलिस ने दोनों पक्षों के दो-दो लोगों के खिलाफ 151 के तहत कार्रवाई की. वहीं, तीन-तीन व्यक्तियों के खिलाफ 107/16 की कार्रवाई की गई है.

क्षेत्राधिकारी ने कहा कि इस मामले में पता चला है कि साल 2005 में कौशला देवी से हरिओम ने जमीन स्टांप पर खरीदी थी. दो साल पहले हरिओम ने इस जमीन पर मकान बनाया था. अब इस जमीन के रेट बढ़ने के कारण कौशला देवी के पुत्र जयप्रकाश और परिवारजन कब्जा करना चाहते हैं. इसी कारण दोनों के बीच विवाद हुआ था. 9 सितंबर को हरिओम ने कोर्ट में मामला दायर किया, जिसमें यथास्थिति बनाए रखने के आदेश दिए गए हैं. वहीं, इस मामले में भाजपा विधायक महेंद्र खड़क वंशी ने कुछ भी बोलने से इनकार कर दिया.

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निशाकांत शर्मा (सहसंपादक)

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