जिले में शुरू हुआ सघन कुष्ठ रोगी खोजी अभियान

जिले में शुरू हुआ सघन कुष्ठ रोगी खोजी अभियान

एटा, 31 जनवरी 2022 ।

जनपद में सोमवार को सघन कुष्ठ रोगी खोजी अभियान शुरू हुआ, जो 13 फरवरी तक चलेगा । अभियान के दौरान लोगों को कुष्ठ रोग के प्रति जागरूक किया जाएगा।  घर-घर जाकर स्वास्थ्य विभाग की टीम सर्वे करेंगी और लक्षण पहचान कर कुष्ठ रोगियों की खोज की जाएगी। 

एसीएमओ व नोडल अधिकारी डॉ सतीश नागर ने बताया कि जिले में सीएमओ डॉ उमेश कुमार त्रिपाठी के निर्देशन में कुष्ठ रोग खोजी अभियान के दौरान 1584 आशा कार्यकर्ता घर-घर जाकर सर्वे करेंगी व कुष्ठ रोग के लक्षण वाले लोगों की सूची तैयार करेंगी।
डॉ नागर ने बताया कि कुष्ठ रोग हवा में मौजूद लेप्रे बैक्टीरिया के जरिए फैलता है। हवा में यह बैक्टीरिया किसी बीमार व्यक्ति से ही आते हैं। उनका कहना है  कि यह एक संक्रामक रोग है। यह छुआछूत की बीमारी बिल्कुल नहीं है। अगर आप इस बीमारी से ग्रसित व्यक्ति से हाथ मिलाएंगे या उसे छू लेंगे, तो आपको यह बीमारी नहीं होगी।उन्होंने बताया कि कुष्ठ रोग मुख्य रूप से चमड़ी एवं तंत्रिकाओं को प्रभावित करता है। यह रोग धीरे-धीरे बढ़ता है और कुछ वर्षों में लोगों को पूरी तरह से कुष्ठ रोग के लक्षण दिखाई देने लगते हैं। यदि शुरुआत में ही रोग का पता चल जाए और उसका समय से उपचार शुरू कर दिया जाए तो रोगी को दिव्यांगता से बचाया जा सकता है।

कुष्ठ रोग के लक्षण:

कुष्ठ रोग में रोगी के शरीर पर सफेद चकत्ते यानी निशान पड़ने लगते हैं। यह निशान सुन्न होते हैं यानी इनमें किसी तरह का एहसास नहीं होता है। अगर आप इस जगह पर कोई नुकीली वस्तु चुभोकर देखेंगे तो आपको दर्द का अहसास नहीं होगा। यह धब्बे शरीर के किसी एक हिस्से पर होने शुरू हो सकते हैं, जो ठीक से इलाज न कराने पर पूरे शरीर में भी फैल सकते हैं। इसके साथ ही कुष्ठ रोग के मरीज को पलक झपकने में दिक्कत होने लगती है क्योंकि लेप्रै बैक्टीरिया मरीज की आंखों की नसों पर हावी होकर उनके सेंसेशन और सिग्नल्स को प्रभावित करता है।

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निशाकांत शर्मा (सहसंपादक)

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