
बरेली :: आपको बताते चलें कि गुजरात के वडोदरा में पुल ढहने से 13 लोगों की मौत होने के बाद लोक निर्माण विभाग ने बरेली मंडल में भी सतर्कता बढ़ा दी है। मुख्यमंत्री के निर्देश पर 50 वर्ष पुराने सभी पुलों का बारीकी से निरीक्षण करने का प्लान तैयार किया है। बरेली मंडल के चारों जिलों के 66 पुलों और पुलियों की इंजीनियर जांच करेंगे। गुरुवर को पीलीभीत, बदायूं में इंजीनियरों ने पुलों का निरीक्षण भी किया।
बारिश शुरू होते ही जर्जर पुल-पुलियों के बैठने और ढहने का खतरा बढ़ने लगा है। चीफ इंजीनियर अजय कुमार ने बताया कि गुरुवार को मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने विभाग के कामकाज की समीक्षा की। उन्होंने गुजरात में हुई पुल ढहने की घटना का संज्ञान लेते हुए निर्देश दिया कि 50 साल पुराने सभी पुलों का बारीकी से निरीक्षण कराया जाए और उनके सुपर स्ट्रक्चर, पियर की स्थिति, सेतुओं के वाटर-वे में ब्लाॅकेज, पियर के साइड में स्क्वायर होल, सेतु के एबटमेन्ट ढाल और बोल्डर का परीक्षण किया जाएगा। इसके साथ ही उन्होंने असुरक्षित पुलों को यातायात के लिए तुरंत बंद करने के निर्देश दिए।
इसके बाद विभाग चौकन्ना हो गया है। 50 वर्ष पुराने पुलों और पुलियों के साथ ही चार साल से पहले बनाए पुल और पुलिया जर्जर हैं या नहीं, इसकी भी जांच इंजीनियरों से कराई जाएगी। छह मीटर तक लंबी पुलिया की जांच अवर अभियंता, छह से 60 मीटर तक के लंबे पुल की जांच सहायक अभियंता, 60 से 200 मीटर तक लंबे पुल की जांच अधिशासी अभियंता, 200 से 500 मीटर तक के पुल की जांच अधीक्षण अभियंता और 500 मीटर अधिक लंबाई वाले पुल की जांच मुख्य अभियंता को खुद जाकर करनी होगी। यही नहीं, पुल-पुलिया के निगरानी का फोटो और वीडियो भी इंजीनियरों को अपलोड करना होगा। जांच के बाद यदि पुल-पुलिया क्षतिग्रस्त होने से कोई दुर्घटना होती है तो संबंधित इंजीनियर की जिम्मेदारी तय की जाएगी।