लखनऊ – लखनऊ विकास प्राधिकरण ने लखनऊ की वी आई पी कॉलोनी नेहरू एनक्लेव को बनाकर वहां पर फ्लैट ओनर्स को ठगा है। ओनर्स के फ्लैट उनके लिए हर तरह से मुसीबत बने हुए हैं। लखनऊ विकास प्राधिकरण फ्लैटों के रखरखाव के साथ कॉलोनी का विकास कार्य भी नहीं करा रहा है। उसका कहना है कि सेना का विवाद है। नेहरू एंक्लेव पूरी तरह से नगर निगम को हैंडओवर न होने का इसका खामियाजा वहां के निवासी भुगत रहे हैं। सबसे बड़ी समस्या नेहरू एनक्लेव की अवैध कब्जेदारों की है। फ्लैट पर अवैध रूप से रहने वाले हैं उनके नाम लखनऊ विकास प्राधिकरण द्वारा फ्लैट एलॉट नहीं किए गए हैं, उसके बावजूद भी वह सालों से रह रहे हैं। लखनऊ विकास प्राधिकरण अवैध कब्जेदारों से फ्लैटों को खाली नहीं करवा पा रहा है। ऐसा लगता है कि अवैध कब्जेदारों कुछ अधिकारियों का संरक्षण प्राप्त है। कुछ लोगों ने कूटनीतिक तरीके से पूर्व में पंजीकृत सोसायटी “नेहरू एंक्लेव रेजिडेंट वेलफेयर एसोसिएशन” पर डिप्टी रजिस्ट्रार लोकेश श्रीवास्तव के साथ मिलकर कब्जा करने की कोशिश की जिसको वहां के निवासियों ने असफल कर दिया।
नेहरू एंक्लेव के निवासियों ने लखनऊ विकास प्राधिकरण को प्रार्थना पत्र देकर रेजिडेंट वेलफेयर एसोसिएशन के गठन कराने का अनुरोध किया परन्तु लखनऊ विकास प्राधिकरण ने डिप्टी रजिस्ट्रार लोकेश श्रीवास्तव, जिन्होंने अवैध कब्जेदारों को नेहरू एंक्लेव रेजिडेंट वेलफेयर एसोसिएशन का पदाधिकारी बताकर ₹ 1000 लेने का आदेश दिया था, उन्हीं को चुनाव कराने का आदेश दे दिया। जिसका नेहरू एंक्लेव के निवासी पूर्ण रूप से विरोध कर रहे हैं। यहां यह भी ज्ञातव्य हो कि पूर्व में पंजीकृत सोसायटी को डिप्टी रजिस्ट्रार के द्वारा कालातीत भी कर दिया गया है और इस समय रजिस्ट्रार कार्यालय में पंजीकृत कोई भी पदाधिकारी इस समय नहीं है।
निवासियों की मांग है कि लखनऊ विकास प्राधिकरण हमारा बिल्डर है और रेजिडेंट वेलफेयर एसोसिएशन का प्रथम बार गठन करना बिल्डर की अपार्टमेंट एक्ट के तहत जिम्मेदारी है। इसलिए लखनऊ विकास प्राधिकरण को नेहरू एंक्लेव रेजिडेंट वेलफेयर एसोसिएशन का चुनाव करवाना चाहिए।